बहराइच के आदमखोर भेड़ियों ने अपना पहला शिकार जून महीने में किया था। इसके बाद कुछ-कुछ दिनों में ये भेड़िए लगातार लोगों को अपना शिकार बनाते गए। इन भेड़ियों के आतंक से गांव के लोग खौफ में जी रहे हैं।
दिल्ली:
भागो…भागो…भेड़िया आया! बिल्कुल ऐसा ही खौफ इन दिनों उत्तर प्रदेश के बहराइच जिले में छाया हुआ है। नेपाल की सीमा से सटे बहराइच के करीब 30 गांवों के लोग पिछले दो महीने से आदमखोर भेड़ियों के आतंक में जी रहे हैं। और क्यों न हो, इन भेड़ियों ने अब तक 8 लोगों को अपना शिकार बना लिया है। पिछले दो महीनों में 7 बच्चे और एक महिला इन आदमखोर भेड़ियों का शिकार हो चुके हैं, वहीं करीब दो दर्जन लोग घायल हो गए हैं। चार भेड़ियों का आतंक इस कदर है कि गांव वालों का खाना-पीना, उठना-बैठना और बाहर जाना तक मुश्किल हो गया है। बच्चे, बड़े, बूढ़े, सभी इन आदमखोर भेड़ियों के साए में जी रहे हैं।
परिवारों में खौफ का माहौल
डरे-सहमे कई परिवारों ने अपने बच्चों को रिश्तेदारों के घर भेज दिया है। जानकारी के मुताबिक वन विभाग ने पहले तीन भेड़ियों को पकड़ लिया था, जिसके बाद बाकी भेड़िए और भी आक्रामक हो गए हैं और तेजी से हमले कर रहे हैं। ये भेड़िए दिन में खेतों में छिप जाते हैं और रात होते ही हमला करते हैं। गांव वाले अब खेतों में पहरा देने को मजबूर हो गए हैं। ड्रोन कैमरों से भी कई बार भेड़ियों को देखा गया है। ‘ऑपरेशन भेड़िया’ भी शुरू हो चुका है।
सोते हुए बच्चे को उठा ले गया भेड़िया
26 अगस्त को एक भेड़िया एक महिला के पास सो रहे 7 साल के बच्चे को उठाकर ले गया। घर से थोड़ी दूर बच्चे का शव मिला। मां की जब नींद खुली, तो बेटा वहां नहीं था। वह दिन-रात बच्चे को तलाशती रही, लेकिन कुछ पता नहीं चला। अगले दिन सुबह कुछ लोगों ने बच्चे का शव खेत में पड़े होने की बात बताई, तब पता चला कि उसे भेड़िया उठा ले गया था।
पहला हमला कब हुआ?
बहराइच के इन आदमखोर भेड़ियों ने पहला शिकार जून महीने में किया था। इसके बाद ये लगातार लोगों को अपना शिकार बनाते गए। इन भेड़ियों ने पिछले तीन दिनों में तीन लोगों की जान ले ली है, जिससे लोग आतंकित हैं। बहराइच के महसी तहसील इलाके के कई गांवों में इन भेड़ियों की चहलकदमी देखी जा रही है।
ड्रोन से निगरानी, फिर भी सफलता नहीं
आठ लोगों की जान लेने वाले इन भेड़ियों को पकड़ने के लिए अब चार जिलों के डीएफओ को लगाया गया है। ड्रोन से खेतों की निगरानी की जा रही है, लेकिन फिर भी ये चार आदमखोर भेड़िए पकड़ में नहीं आ रहे हैं। ये भेड़िए वन विभाग और जिला प्रशासन के लिए बड़ी चुनौती बने हुए हैं।
भेड़ियों का खौफ 30 गांवों में फैला
न तो प्रशासन का ड्रोन कैमरा काम आ रहा है और न ही वन विभाग की टीमें और सीनियर अधिकारी ही कुछ कर पा रहे हैं। जब प्रशासन इन आदमखोरों को पकड़ने में नाकाम रहा, तो गांव वालों ने खुद उन्हें खोजने का मोर्चा संभाल लिया।
लापता भेड़ियों के खौफ से ग्रामीण बेहद परेशान हैं। कहीं भेड़िया आकर उनके अपनों को न खा जाए, इस डर से करीब 30 गांव के लोग रातभर जागकर निगरानी करने को मजबूर हैं। खेतों के पास लगे लोहे के पिंजरे भी किसी काम नहीं आ रहे हैं। बेखौफ भेड़िए लोगों को अपना शिकार बना रहे हैं।