फर्रुखाबाद में पेड़ से लटकी मिलीं दो दलित लड़कियों में से एक के पिता ने शक जताया है कि लड़कियों की हत्या की गई है, जबकि पुलिस ने हत्या और बलात्कार की संभावना को खारिज कर दिया है। पुलिस फिलहाल आत्महत्या के एंगल से जांच कर रही है। हालांकि, अधिकारियों का कहना है कि पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने तक कुछ भी कहना जल्दबाजी होगी।
फर्रुखाबाद के कायमगंज इलाके में दो दलित लड़कियों के शव पेड़ से लटके मिलने के बाद हड़कंप मच गया है। ये दोनों सहेलियां जन्माष्टमी पर एक कार्यक्रम देखने गई थीं, लेकिन वापस घर नहीं लौटीं और उनके शव एक ही दुपट्टे से लटके हुए मिले। इनमें से एक लड़की के पिता ने अपनी बेटी की हत्या की आशंका जताई है, जबकि पुलिस ने बलात्कार और हत्या की संभावना से इनकार करते हुए इस मामले को आत्महत्या के रूप में देख रही है।
इनमें से एक लड़की के पिता ने कहा, “मेरी बेटी और पड़ोस में रहने वाली उसकी सहेली जन्माष्टमी पर रात को झांकी देखने गई थीं। जब वह देर रात तक नहीं लौटीं, तो हमने सोचा कि वह गांव में अपनी चाची के घर रुक गई होगी। सुबह हमें सूचना मिली कि दो लड़कियों ने फांसी लगा ली है। जब हम मौके पर पहुंचे, तो मेरी बेटी और उसकी सहेली एक ही दुपट्टे से पेड़ से लटकी हुई थीं। हमें लगता है कि उनकी हत्या की गई है। वहां एक मोबाइल और चप्पलें भी मिलीं।”
इस मामले में एसपी ने क्या कहा?
फर्रुखाबाद के एसपी आलोक प्रियदर्शी ने कहा, “हमें कायमगंज के भगौतीपुर गांव से सूचना मिली कि दो लड़कियां (18 और 15 साल की उम्र) पेड़ से लटकी हुई पाई गईं। यह पाया गया कि दोनों करीबी सहेलियां थीं। दोनों ने एक ही दुपट्टे से फांसी लगाई है। प्रारंभिक जांच में ऐसा लगता है कि लड़कियों ने खुद ऐसा किया है, लेकिन पोस्टमार्टम के बाद ही चीजें स्पष्ट होंगी। हमने मौके से एक फोन और सिम बरामद किया है। हम इस घटना के पीछे के कारण का पता लगाने के लिए मामले की जांच कर रहे हैं।”
अखिलेश यादव ने उठाया महिलाओं की सुरक्षा का मुद्दा
एसपी अध्यक्ष अखिलेश यादव ने इस मामले में निष्पक्ष जांच की मांग की है। अखिलेश ने कहा, “फर्रुखाबाद, यूपी में जन्माष्टमी महोत्सव देखने गई दो लड़कियों के शव पेड़ से लटके मिलने की घटना बहुत ही संवेदनशील है। भाजपा सरकार को इस मामले में तुरंत निष्पक्ष जांच करवानी चाहिए और इस संदिग्ध हत्या के मामले में अपनी रिपोर्ट देनी चाहिए। ऐसी घटनाएं समाज में भयावह माहौल पैदा करती हैं, जिससे महिलाएं मानसिक रूप से प्रताड़ित होती हैं। ‘महिलाओं की सुरक्षा’ को राजनीति से ऊपर उठकर एक गंभीर मुद्दे के रूप में उठाने का अवश्य समय आ गया है।”
राज्य महिलाओं के लिए श्मशान बन गया है: कांग्रेस
यूपी कांग्रेस ने भी इस मुद्दे पर योगी सरकार को घेरा और कहा कि यह राज्य महिलाओं के लिए श्मशान बन गया है। यूपी कांग्रेस ने एक्स पर लिखा, “फर्रुखाबाद में जन्माष्टमी पर मंदिर गईं दो लड़कियों के शव आम के बाग में लटके मिले। उन्हें यहां किसने लटकाया? क्यों? किसी को कुछ नहीं पता। यह राज्य महिलाओं के लिए श्मशान बन गया है। कोई भी महिला जो अपने घर से बाहर कदम रखती है, यहां सुरक्षित महसूस नहीं करती। सरकार को इन बेखौफ दरिंदों पर लगाम लगाने के लिए कुछ ठोस कदम उठाने चाहिए! कब तक हमारी बहनें और बेटियां डर के साए में जीती रहेंगी?”